द लोकतंत्र : Bengal सियासत और भ्रष्टाचार का आपस में चोली दामन का रिश्ता है। योजनाओं में धांधली, स्कैम, सरकारी धन का दुरुपयोग और तरह तारक के आर्थिक अपराधों से नेताओं के नाम जुड़ते रहते हैं। और जहां आर्थिक अपराध की बात हो वहाँ ED न हो ऐसा कम ही होता है। पूर्व शिक्षा मंत्री और टीएमसी नेता पार्थ चटर्जी के करीबियों पर आज ईडी ने छापामारी की है। शिक्षक भर्ती घोटाले के सिलसिले में कोलकाता में कई स्थानों पर ये छापामारी चल रही है।
Bengal – पूर्व में 21 करोड़ की नगदी और आभूषण हुए थे जप्त
दरअसल, वर्ष 2022 में 23 जुलाई को पार्थ चटर्जी को पश्चिम बंगाल में स्कूल सेवा आयोग (एसएससी) घोटाले के सिलसिले में ईडी द्वारा गिरफ़्तार किया गया था। गिरफ़्तारी के बाद पूर्व शिक्षा मंत्री की करीबी सहयोगी अर्पिता मुखर्जी के कोलकाता स्थित आवास से ईडी ने 21 करोड़ रुपये नकद और 1 करोड़ रुपये से अधिक के आभूषण भी जप्त किए थे।
ED को मिले एक इनपुट के आधार पर छापेमारी
बता दें, ईडी राज्य के पूर्व शिक्षा मंत्री के करीबी के आवास पर छापेमारी कर रही है। शिक्षक भर्ती घोटाला के अन्तर्गत यह छापेमारी की जा रही है। विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने इस संदर्भ में दावा किया कि पश्चिम बंगाल सरकारी नौकरियों की बिक्री का नेक्सस बहुत सक्रिय है। उन्होंने अपने सोशल मीडिया पर एक ऑडियो क्लिप भी शेयर की। ऑडियो क्लिप में कालीपद पति, टीएमसी नेता पार्थ चटर्जी और मनिक भट्टाचार्य और एक एजेंट की बातचीत है। क्लिप में एजेंट बता रहा है कि उसने सरकारी स्कूल में शिक्षक पद के लिए 14 लाख रुपये का भुगतान किया, लेकिन उसकी नियुक्ति के लिए कोई कॉल नहीं आया।
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विपक्ष नेता शुभेंदु अधिकारी ने क्लिप शेयर कर दावा किया कि राज्य में शिक्षक भर्ती घोटाला अभी भी सक्रिय है। उन्होंने अपने पोस्ट में सीबीआई और ईडी के टैग करते हुए इसके खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। बता दें कि केंद्रीय बलों के साथ ईडी ने एक बिल्डर के दफ्तर और उनके तीन रिहायशी फ़्लैट्स पर छापमारी की। ईडी के अधिकारी ने बताया कि घोटाले में बिल्डर की अहम भूमिका है।