द लोकतंत्र: आम आदमी पार्टी (AAP) और कांग्रेस (Congress) के बीच तल्खी लगातार बढ़ रही है। सोमवार (1 सितंबर) को दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष सौरभ भारद्वाज ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कांग्रेस पर बड़ा आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि 2025 दिल्ली विधानसभा चुनाव कांग्रेस ने खुद जीतने के लिए नहीं बल्कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) को जिताने के लिए लड़ा।
‘कांग्रेस BJP को जिताने के लिए तैयार थी’
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि चुनाव के दौरान ही अंदाजा हो गया था कि कांग्रेस का मकसद AAP को रोकना है। उन्होंने दावा किया कि चुनाव खत्म होने के बाद कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष ने खुद यह कबूल किया कि पार्टी ने यह तय किया था कि चाहे इस बार BJP जीत जाए लेकिन AAP को सत्ता में नहीं आने देना है।
AAP का आरोप- ‘CEC में हुई चर्चा’
AAP नेता ने कहा कि कांग्रेस की शीर्ष संस्था CEC (Central Election Committee) में इस बात पर चर्चा हुई। खरगे और राहुल गांधी समेत राष्ट्रीय नेतृत्व ने साफ कहा कि अगर BJP को जिताना पड़े तो भी कोई फर्क नहीं पड़ता, लेकिन अरविंद केजरीवाल और AAP को हराना चाहिए।
‘AAP नेताओं को टारगेट किया गया’
AAP ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने चुनाव में भाजपा नेताओं को हराने की रणनीति नहीं बनाई। बल्कि कांग्रेस ने अपनी पूरी ताकत अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया जैसे AAP नेताओं को हराने पर केंद्रित की। सौरभ भारद्वाज ने कहा कि कांग्रेस का यह रवैया लोकतांत्रिक राजनीति में बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है।
चुनावी खर्च पर भी सवाल
सौरभ भारद्वाज ने दावा किया कि BJP ने 57 करोड़, AAP ने 14 करोड़, जबकि कांग्रेस ने 46 करोड़ रुपए चुनाव में खर्च किए। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस के पास से आए 44 करोड़ कैश के स्रोत पर कोई जांच नहीं हो रही है क्योंकि यह पैसा AAP को हराने के लिए इस्तेमाल किया गया, जिससे BJP को सीधा फायदा हुआ।
‘कार्यकर्ता RJD का और मार्केटिंग राहुल की’
सौरभ भारद्वाज ने बिहार का उदाहरण देते हुए कहा कि वहां कांग्रेस की कोई जमीनी पकड़ नहीं है। उन्होंने तंज किया कि “बिहार में झंडा उठाने वाला कार्यकर्ता RJD का है, वोटर भी RJD का है लेकिन मार्केटिंग राहुल गांधी की हो रही है।”
AAP बनाम कांग्रेस की तल्खी
AAP और कांग्रेस के बीच यह बयानबाजी ऐसे समय हो रही है जब विपक्षी गठबंधन में दोनों दल साथ हैं, लेकिन दिल्ली और कई राज्यों में तालमेल को लेकर मतभेद गहराते जा रहे हैं। AAP का सीधा आरोप है कि कांग्रेस विपक्ष की एकजुटता की बजाय BJP को मजबूत करने की कोशिश कर रही है।