द लोकतंत्र: उत्तराखंड (Uttarakhand) में बारिश और भूस्खलन (Landslide) का खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। राज्य के पहाड़ी जिलों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश से नदियां उफान पर हैं और कई जगहों पर पहाड़ टूटकर सड़कों पर गिर रहे हैं। ताज़ा मामला चमोली जिले से सामने आया है, जहां अनीमठ इलाके में बद्रीनाथ नेशनल हाईवे पर पहाड़ का बड़ा हिस्सा टूटकर आ गिरा।
अनीमठ इलाके में बड़ा हादसा टला
सोशल मीडिया पर सामने आए वीडियो में देखा जा सकता है कि कैसे पहाड़ का विशाल हिस्सा अचानक ढहकर सड़क पर गिर जाता है। सौभाग्य से उस समय वहां कोई वाहन मौजूद नहीं था, वरना जानमाल का बड़ा नुकसान हो सकता था। इस घटना के बाद इलाके में दहशत का माहौल है और लोग लगातार प्रशासन से सुरक्षा इंतज़ाम बढ़ाने की मांग कर रहे हैं।
हाईवे पर यातायात बाधित
भारी मलबा गिरने से बद्रीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग बाधित हो गया। प्रशासन ने तुरंत सड़क से मलबा हटाने का काम शुरू किया। अधिकारियों का कहना है कि लगातार हो रही बारिश और बार-बार हो रहे भूस्खलन से राहत कार्य प्रभावित हो रहे हैं, लेकिन जल्द ही मार्ग को सुचारु कर दिया जाएगा।
कई जगहों पर बंद हुआ मार्ग
चमोली जिले में केवल अनीमठ ही नहीं बल्कि अन्य जगहों पर भी भूस्खलन से यातायात प्रभावित है।
पागलनाला, नंदप्रयाग, भएरपानी और गौचर (कमेडा) के पास हाईवे मलबे से ढक गया था।
नंदप्रयाग में मार्ग को आंशिक रूप से खोल दिया गया है।
कर्णप्रयाग-ग्वालदम मार्ग बगोली के पास भूस्खलन से ठप हो गया है।
कपिरी-खनखुल रूट भी पूरी तरह बंद पड़ा है।
स्थानीय लोगों में दहशत
लगातार हो रही बारिश और भूस्खलन की घटनाओं से स्थानीय लोग भयभीत हैं। लोगों का कहना है कि इस तरह की घटनाएं जानलेवा साबित हो सकती हैं। प्रशासन की ओर से राहत और बचाव दलों को सक्रिय कर दिया गया है और यात्रियों को सुरक्षित स्थानों पर रुकने की सलाह दी जा रही है।
उत्तराखंड में हर साल बरसात के मौसम में भूस्खलन की घटनाएं आम हो जाती हैं, लेकिन इस बार स्थिति ज्यादा गंभीर नजर आ रही है। चमोली समेत कई जिलों में नेशनल हाईवे बार-बार बाधित हो रहा है, जिससे यात्रियों और स्थानीय लोगों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। फिलहाल प्रशासन मलबा हटाकर यातायात बहाल करने में जुटा हुआ है।