द लोकतंत्र/ पटना : बिहार विधानसभा चुनाव 2025 की अधिसूचना जारी होने से पहले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आख़िरी दांव चला है। आज सीएम नीतीश कैबिनेट की अहम बैठक बुलाई, जिसमें कुल 129 प्रस्तावों पर स्वीकृति दी गई। यह बैठक चुनाव से पहले राज्य के विकास और प्रशासनिक तैयारियों को तेज करने के लिहाज से महत्वपूर्ण मानी जा रही है। बैठक में शिक्षा, स्वास्थ्य, कृषि, सड़क, पुलिस, जल संसाधन, शहरी विकास और सामाजिक कल्याण से जुड़े कई बड़े प्रस्ताव पास किए गए।
शिक्षा और छात्रवृत्ति योजनाओं में बड़ा विस्तार
कैबिनेट की बैठक में बिहार में फिल्म एवं नाट्य संस्थान की स्थापना को मंजूरी दी गई। इसके अलावा विद्यालयी शिक्षा में छात्रवृत्ति राशि को दोगुना कर दिया गया है। कक्षा पहली से चौथी के छात्रों को अब 1200 रुपये वार्षिक, पांच से छठी कक्षा के छात्रों को 2400 रुपये, और नौवीं-दसवीं कक्षा के छात्रों को 3600 रुपये वार्षिक छात्रवृत्ति मिलेगी। सरकारी स्कूलों और विभागीय कार्यालयों में 40 कंप्यूटर ऑपरेटर और 40 बटलरूम कंप्यूटर ऑपरेटर के पद सृजित किए गए।
कृषि और ग्रामीण विकास में निवेश
कृषि विभाग में 218 नए पदों के सृजन को मंजूरी दी गई। फसल बीमा, बीज वितरण, सब्सिडी योजनाओं और गेहूं–धान उत्पादन बढ़ाने के लिए हजारों करोड़ रुपये मंजूर किए गए। प्रधानमंत्री कृषि विकास योजना और राष्ट्रीय बागवानी मिशन के तहत कई परियोजनाओं को हरी झंडी मिली। ग्रामीण विकास विभाग के तहत गंडक कमांड एरिया और सिंचाई योजनाओं में निवेश की स्वीकृति दी गई।
स्वास्थ्य और सड़क निर्माण
कैबिनेट ने कई जिलों में नए अस्पताल भवन और मेडिकल कॉलेज बनाने का निर्णय लिया। सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस और पीजी डॉक्टरों के लिए तीन वर्ष की अनिवार्य सेवा का प्रावधान किया गया। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन और मिशन निरोगी बिहार के तहत टीकाकरण अभियान को और सशक्त किया जाएगा। सड़क निर्माण विभाग के तहत 12,000 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से सड़कों का चौड़ीकरण और नई सड़कों का निर्माण होगा। कई पुल और बाइपास परियोजनाओं को भी मंजूरी दी गई।
इसके अलावा विधवा पेंशन, अल्पसंख्यक, पिछड़ा और अति पिछड़ा वर्ग के छात्रों के लिए छात्रवृत्ति राशि बढ़ाई गई। बिहार क्लस्टर आधारित उद्योग अधिनियम, 2025 को मंजूरी दी गई, जिससे औद्योगिक निवेश को बढ़ावा मिलेगा। पटना में पावर म्यूजियम और पर्यटन स्थलों के संरक्षण के लिए विशेषज्ञ परामर्श एजेंसियों की नियुक्ति की स्वीकृति दी गई।
पद सृजन और प्रशासनिक सुदृढ़ीकरण
बिहार वानिकी महाविद्यालय और शोध संस्थानों में 26 अतिरिक्त पद, पर्यावरण, वन एवं जलवायु विभाग में 1491 नए पद, राष्ट्रीय डॉल्फिन शोध केंद्र में 45 पद, संजय गांधी जैविक उद्यान में 172 पद, और वन प्रमंडलों में कुल 927 नए पद सृजित किए गए। सचिवालय और संलग्न कार्यालय के लिए 78 पद स्वीकृत किए गए।
इस बैठक के बाद स्पष्ट हो गया है कि नीतीश सरकार चुनाव से पहले बिहार में विकास और प्रशासनिक तैयारियों पर जोर दे रही है। यह कदम चुनाव में जनता के सामने अपनी उपलब्धियों और विकास एजेंडा को पेश करने की रणनीति का हिस्सा माना जा रहा है।