द लोकतंत्र/ पटना : बिहार चुनाव 2025 के लिए महागठबंधन में सीट बंटवारे को लेकर चल रही बातचीत अब निर्णायक मोड़ पर पहुँच गई है। सूत्रों के मुताबिक़, अधिकांश दलों के बीच सहमति बन चुकी है, बस अंतिम गणना पर मुहर लगना बाकी है। ऐसा माना जा रहा है कि जल्द ही गठबंधन की ओर से आधिकारिक घोषणा हो सकती है।
RJD को बढ़त, कांग्रेस चाहती है बड़ा हिस्सा
महागठबंधन की सबसे बड़ी पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (RJD) को इस बार भी प्रमुख हिस्सेदारी मिलने की संभावना है। चर्चाओं के अनुसार, कुल सीटों में RJD को सबसे बड़ा कोटा मिलने पर सहमति बन चुकी है। हालांकि, कांग्रेस इस बार अपने संगठनात्मक विस्तार और पिछले चुनाव के प्रदर्शन का हवाला देकर अधिक सीटों की मांग कर रही है। पार्टी का तर्क है कि उसका वोट शेयर बढ़ा है और अब वह पचास से ज़्यादा सीटों पर दावेदारी कर रही है।
छोटे दलों की दावेदारी ने बढ़ाई मुश्किलें
गठबंधन के छोटे सहयोगी दलों ने इस बार समीकरण को जटिल बना दिया है। विकासशील इंसान पार्टी (VIP) और झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) दोनों सम्मानजनक हिस्सेदारी की मांग पर अड़े हैं। VIP प्रमुख मुकेश सहनी पहले ही साफ कर चुके हैं कि उनकी पार्टी अब ‘प्रतीकात्मक नहीं, प्रभावशाली’ भागीदारी चाहती है।
वहीं वाम दलों ने भी यह स्पष्ट किया है कि वे विचारधारा के साथ-साथ प्रतिनिधित्व में भी कमी बर्दाश्त नहीं करेंगे। सूत्र बताते हैं कि उन्हें लगभग पिछली बार जितनी ही सीटें मिलने की संभावना है।
नई पार्टी को भी जगह देने की चर्चा
सूत्रों के अनुसार, इंडिया इन्क्लूसिव पार्टी (IIP) को भी गठबंधन में शामिल करने पर विचार चल रहा है। पार्टी के प्रमुख आईपी गुप्ता से हाल ही में RJD नेताओं की बातचीत हुई है और उन्हें एक सीट देने का प्रस्ताव रखा गया है।
गठबंधन में संतुलन साधने की कोशिश
पूरे समीकरण में इस बार संतुलन की राजनीति अहम हो गई है। बड़ी पार्टियाँ अपने पुराने आंकड़ों को आधार बनाना चाहती हैं, जबकि छोटे दल क्षेत्रीय प्रभाव के बूते ज़्यादा प्रतिनिधित्व की मांग कर रहे हैं। अंदरखाने चर्चा यह भी है कि कांग्रेस को कुछ शहरी सीटें अतिरिक्त रूप से दी जा सकती हैं, ताकि संगठन को मैदान में अधिक सक्रिय बनाया जा सके।
ऐलान से पहले राजनीतिक चढ़ा तापमान
गठबंधन के सूत्रों का कहना है कि सीटों का प्रारूप लगभग तय हो चुका है। अब केवल औपचारिक मंज़ूरी और प्रेस कॉन्फ्रेंस बाकी है। उम्मीद है कि अगले कुछ दिनों में महागठबंधन की तरफ़ से संयुक्त घोषणा की जाएगी। उधर, भाजपा-जदयू गठबंधन भी उम्मीदवारों की सूची को अंतिम रूप देने में जुटा हुआ है। यानी बिहार की सियासत अब चुनावी मोड में पूरी तरह प्रवेश कर चुकी है।

